बच्चे बाल श्रम न करें, भीख न मांगे इसके लिए समाज भी आगे आए

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह ने कहा सरकार और समाज मिलकर कार्य करे तो बदलाव आएगा भोपाल । 12 जून मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि बच्चे भीख ना मांगे, उनकी पढ़ाई-लिखाई, कपड़े, भोजन इत्यादि की व्यवस्था हो, बच्चों से बाल श्रम न कराया जा सके और उन्हें शोषण से बचाया जाए, इस दिशा में सरकार के साथ समाज को भी आगे आना होगा।

मुख्यमंत्री ने यह बात आज राजधानी में प्रशासन अकादमी में विश्व बाल श्रम निषेध दिवस  पर चाइल्ड कंजर्वेशन फाउंडेशन द्वारा आयोजित कार्यक्रम का शुभारंभ करते हुए कही। उन्होंने कहा कि बाल कल्याण भी ऐसा विषय है, जिसमें समाज और सरकार को मिलकर काम करना चाहिए। बच्चों के कल्याण के लिए अकेले सरकार ही नहीं समाज को भी आगे आना होगा। बाल श्रम का उन्मूलन कैसे हो, बच्चों के विकास के कार्यक्रमों को कैसे गति मिले, इस पर हम सभी को एक साथ आना होगा। हम लोग मिलकर मिलकर बेहतर काम करने का प्रयास करेंगे।

उन्हांने कहा कि बच्चों के कल्याण के लिए भी सरकार और समाज को साथ आना होगा तभी हम बच्चों का कल्याण सुनिश्चित कर सकते हैं। बच्चे भीख ना मांगे, उनकी पढ़ाई-लिखाई, कपड़े, भोजन इत्यादि की व्यवस्था हो, बच्चों से बाल श्रम न कराया जा सके और उन्हें शोषण से बचाया जाए, इस दिशा में सरकार के साथ समाज को भी आगे आना होगा।

भीख मांगते बच्चे को देखता हूं तो मन में होती है वेदना

मुख्यमंत्री ने कहा कि मेरे मन में वेदना होती है, अगर मैं किसी बच्चे को भीख मांगते देखता हूं। कोरोना संकट काल में जिन बच्चों ने अपने माता-पिता को खो दिया, अब उनकी जिम्मेदारी हमारी है। उन बच्चों को 5 हजार रूपए प्रतिमाह दिया जा रहा है। कुपोषित बच्चों को स्वस्थ रखने के लिए भी हम प्रयास कर रहे हैं। बच्चे बाल श्रम ना करें, बच्चे भीख ना मांगे, बच्चों को शोषण से मुक्त करें, उसके लिए अपने पॉलिसी डॉक्युमेंट बनाया है, इसका मैं अध्ययन करूंगा। क्योंकि यह मेरे दिल का काम है।

उचित प्लेटफार्म मिल जाए तो ला सकते हैं बदलाव

मुख्यमंत्री ने कहा कि आंगनबाड़ी के लिए खिलौने, बच्चों की आवश्यक वस्तुओं सहित विभिन्न सामग्री एकत्र करने के लिए मैं स्वयं हाथ ठेला लेकर निकला। भोपाल और इंदौर में मुझे समाज का ऐसा सहयोग मिला जिसकी कल्पना भी नहीं थी। आंगनबाड़ी के लिए सामान एकत्र करने भोपाल में निकला तो 10 ट्रक सामान और 1 करोड़ 40 लाख रुपए लोगों ने दिए, वहीं इंदौर में 40 ट्रक सामान और 8.30 करोड़ रुपए से अधिक की राशि समाज की ओर से प्राप्त हुई। उचित प्लेटफार्म मिल जाए तो समाज और सरकार साथ मिलकर कोई भी बदलाव ला सकते हैं।

मजदूरी करवाना गलत

मुख्यमंत्री  कहा है कि बाल श्रम के बारे में यह नहीं होना चाहिए कि बच्चे घर का कार्य भी न करें। उनसे मजदूरी करवाना गलत है। उनका शोषण न हो। हमें बच्चों को शोषण से मुक्त करने का प्रयास करना चाहिए। मुझे खुशी है कि हमारे युवा बेटे-बेटियों में स्वयं आगे बढ़ने के साथ राष्ट्र एवं समाज की उन्नति के लिए कार्य करने की ललक है। मैं अपने बच्चों के उज्ज्वल भविष्य के निर्माण के लिए कटिबद्ध हूँ।

द्वारा राजेंद्र पाराशर पत्रकार भोपाल