देश का हृदय मध्यप्रदेश अपने प्राकृतिक सौंदर्य और मनमोहक धरोहर के कारण देशभर में जाना जाता है। कोरोना की मार से सबसे अधिक प्रभावित रहा मध्यप्रदेश का पर्यटन उद्योग अब सरकार की बड़ी कोशिशों के चलते पटरी पर लौटने लगा है। 2022 के शुरुआती तीन महीने में 76 लाख 11 हजार 898 देशी पर्यटकों ने प्रदेश के प्रमुख पर्यटन स्थलों की ओर रुख किया। 2021 में मप्र आने वाले देशी पर्यटकों की कुल संख्या दो करोड़ 48 लाख 28 हजार 233 थी। वर्ष 2022 में पर्यटकों की बढ़ती तादात को देखते हुए कहा जा सकता है पर्यटकों की आमद के लिहाज से ये साल बेहतर रहेगा और पर्यटकों की संख्या रिकार्ड बनाएगी।
एमपी पर्यटकों के लिए वन स्टॉप डेस्टिनेशन
नैसर्गिक प्राकृतिक सौंदर्य और अद्भुत स्थापत्य कला के धनी मध्यप्रदेश का गौरवशाली इतिहास और समृद्ध संस्कृति पूरे भारत में अद्वितीय है। प्रदेश के नैसर्गिक और लुभावने स्थलों को पर्यटन के लिए विकसित किया बल्कि स्थानीय स्तर पर रोजगार के अवसर भी पैदा किए। अब पर्यटन सिर्फ मनोरंजन नहीं रहा बल्कि रोजगार, स्थानीय संस्कृति और खान-पान, कला और स्थापत्य कला का केंद्र-बिंदु भी बनके उभरा है। मध्यप्रदेश के पर्यटन स्थल देश–विदेश से आये पर्यटकों के दिल में अपनी खास जगह बनाते हैं। यहां स्थित कई ऐतिहासिक स्मारक, मंदिर, मस्जिद, किले और महल आने वाले पर्यटकों को अपनी ओर आकर्षित करते हैं। जहां विंध्य और सतपुड़ा की पहाड़ी श्रृंखलाएं अपने हरे–भरे रंगों से सराबोर करती है वहीं, यहां के घने जंगल, लहराती नदियां, झीलें के साथ मध्यप्रदेश का सभी को अपनी तरफ सम्मोहित करने वाला नजारा दिखता है। कान्हा, बांधवगढ़, पेंच, शिवपुरी, पन्ना और कूनो सहित कई अन्य राष्ट्रीय उद्यान लोगों को वन्य जीवन को देखने का रोमांचक अवसर प्रदान करते हैं। गुफाओं से लेकर वास्तुकला से सजे किलों, महलों, मंदिरों, पायदानों और अन्य असंख्य स्मारकों के साथ इतिहास ने कई छाप छोड़े हैं। यह वास्तव में राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय दोनों पर्यटकों के लिए वन स्टॉप डेस्टिनेशन है।